तेलंगाना राष़्ट्रा समीती के रुक्न असेंबली के तारक़ रामा राव ने तेलुगु देशम क़ाइद और एन टी आर के फ़र्ज़ंद हरी कृष्णा पर सख़्त तन्क़ीद की जिन्हों ने मुत्तहदा आंध्र की हिमायत में राज्य सभा की रुक्नीयत से इस्तीफ़ा दे दिया।
अख़्बारी नुमाइंदों से बात-चीत करते हुए के टी रामा राव ने हरी कृष्णा के इस ब्यान पर नुक्ताचीनी की जिस में उन्हों ने कहा कि तेलुगु अवाम के इत्तिहाद के लिए उन के वालिद एन टी रामा राव ने जद्दो जहद की थी इसी लिए उन्हों ने राज्य सभा की रुक्नीयत से इस्तीफ़ा दे कर मुत्तहदा आंध्र प्रदेश के हक़ में जद्दो जहद करने का फ़ैसला किया है।
उन्हों ने एन टी रामाराव के इस ब्यान की याद ताज़ा की जिस में उन्हों ने कहा था कि तेलंगाना तहरीक के लिए कई अफ़राद ने अपनी जानें क़ुर्बान कर दीं इस के साथ साथ जय आंध्र तहरीक में भी कई अफ़राद ने अपनी जानों की क़ुर्बानी दी।
इन हालात में एन टी रामा राव ने अलैहदा होकर मुत्तहिद रहने का मश्वरा दिया था। उन्हों ने जय आंध्र तहरीक के दौरान एन टी रामा राव और नागेश्वर राव की जानिब से रियासत की तक़सीम के हक़ में दिए गए ब्यानात का ना सिर्फ़ हवाला दिया बल्कि उन की जानिब से पेश कर्दा तजावीज़ मीडिया के रूबरू पेश की।
उन्हों ने याद दिलाया कि तेलुगु देशम पार्टी ने मर्कज़ की जानिब से तलब कर्दा कुल जमाती इजलास में तेलंगाना की ताईद की थी। चंद्रा बाबू नायडू ने भी बारहा तेलंगाना रियासत की तशकील में तआवुन का एलान किया था लेकिन कांग्रेस वर्किंग कमेटी और यू पी ए के फ़ैसला के साथ ही सीमा आंध्र क़ाइदीन के दबाव में उन्हों ने अपने मौक़िफ़ से इन्हिराफ़ कर लिया है।