ख़तरात से निमटने के लिए दिफ़ाई मसारिफ़ में इज़ाफ़ा नागुज़ीर

वज़ीर ए दिफ़ा मिस्टर ए के अंटोनी ने आज कहा कि दिफ़ाई मसारिफ़ में इज़ाफ़ा नागुज़ीर है ताकि मुसल्लह अफ़्वाज असरी टेक्नोलोजी और आलात से लैस होकर ख़तरात का मूसिर मुक़ाबला कर सके । हिंदूस्तानी मईशत की तरक़्क़ी आइन्दा दो दहों में 8 से 10 फीसद होने की तवक़्क़ुआत का इज़हार किया जा रहा है , इसी मुनास्बत से दिफ़ाई शोबा के मसारिफ़ में भी ग़ैरमामूली इज़ाफ़ा ज़रूरी है और ये एक फ़ित्री अमल है ।

वज़ीर दिफ़ा मिस्टर अंतोनी इंटरनैशनल लैंड एंड नेवल डीफेंस सिस्टम्स अग्ज़बेशन डेफ़ एक्सपो 12 के सातवें एडीशन के इफ़्तेताह के बाद मुख़ातिब थे। उन्होंने कहा कि दिफ़ाई अग़राज़ के लिए मुख़तस की जाने वाली रक़म में मुल़्क की ज़रूरियात के मुताबिक़ इज़ाफ़ा किया जाता है और ये जारी रहने वाला अमल है ।

उन्होंने बताया कि हिंदूस्तान के दिफ़ाई मसारिफ़ हालिया अर्सा के दौरान जी डी पी का तकरीबन 2 फीसद रही और ये मुल़्क की सिक्योरिटी की ज़रूरियात और साथ ही साथ दरकार तलब के मुताबिक़ है । देसी साख़ता हथियारों-ओ-आलात की ज़रूरत पर ज़ोर देते हुए उन्होंने कहा कि दिफ़ाई सनअत के शोबा में पब्लिक । प्राइवेट पार्टनरशिप को फ़रोग़ देना चाहीए ।

उन्होंने बताया कि एक ऐसी पॉलीसी वज़ा की जा रही है जिस के ज़रीया सलाहियतों को मौसर तौर पर बरोए कार और तमाम दरकार वसाइल से इस्तेफ़ादा करते हुए देसी साख्ता तौर पर हथियार तैयार किए जा सकें और ये काम पब्लिक व प्रावेट सेक्टर के मुशतर्का तआवुन से किया जाए । इफ़्तेताही तक़रीब से ख़िताब करते हुए मिनिस्टर आफ़ स्टेट दिफ़ा एम एम पल्लम राजू ने कहा कि हुकूमत मुसल्लह फोर्सेस के लिए तवील मुद्दती इंटिग्रेटेड पॉलीसी को क़तईयत दे रही है । उन्होंने कहा कि इस मंसूबा के तहत दिफ़ाई शोबा में सरमाया कारी की हौसला अफ़्ज़ाई की जाएगी|