फ़िल्म ‘पाकीज़ा’ की एक्ट्रेस गीता कपूर का निधन, बच्चों ने कर दिया था बेघर

मुंबई। वेटरन एक्टर गीता कपूर का लंबी बीमारी के बाद निधन हो गया है। 57 साल की गीता कपूर को बीमारी के बाद उनके बच्चों ने लगभग सालभर पहले बेघर कर दिया था।

शनिवार सुबह लगभग 9 बजे गीता कपूर ने मुंबई के एसआरवी हॉस्पिटल में आख़िरी सांस ली। प्रोड्यूसर अशोक पंडित ने इसकी पुष्टि करते हुए जानकारी दी। मीडिया रिपोर्ट्स में उनके हवाले से कहा गया है कि हमने उनकी देखभाल करने की पुरज़ोर कोशिश की, लेकिन अंतत: उन्होंने हार मान ली। एक साल तक वो अपने बच्चों का इंतज़ार करती रहीं, लेकिन कोई उनसे मिलने नहीं आया। पिछले शनिवार को ही उन्हें ख़ुश करने के लिए हमने ब्रेकफास्ट का आयोजन किया था। वो ठीक दिख रही थीं, लेकिन अंदर से वो ख़ुश नहीं थीं। वो आख़िरी वक़्त में अपने बच्चों को देखना चाहती थीं। जानकारी के अनुसार, गीता कपूर की मृत्यु प्राकृतिक है। उम्र की वजह से उनकी तबीयत ख़राब हो रही थी।

अशोक पंडित ने इस बारे में ट्वीट भी किया था। उन्होंने एक वीडियो पोस्ट किया था, जिसमें एंबुलेंस में गीता कपूर के पार्थिव शरीर को रखते हुए देखा जा सकता है। पंडित ने लिखा था- ”वृद्धाश्रम में स्वर्गीय गीता कपूर के दोस्त उन्हें अंतिम विदाई दे रहे हैं। उन सभी की आंखों में आंसू थे और सभी सदमे में थे। उनके अपने बच्चों से कहीं अच्छे, जिन्होंने उन्होंने छोड़ दिया था। मेरे लिए अविस्मरणीय और ह्दय-विदारक अनुभव।”

गीता कपूर ने 100 से अधिक फ़िल्मों में काम किया था। कमाल अमरोही की ‘पाकीज़ा’ में उन्हें बड़ा किरदार मिला, जिसमें उन्होंने राज कुमार की दूसरी पत्नी का रोल निभाया था। इस क्लासिक फ़िल्म में मीना कुमारी मुख्य भूमिका में थीं। बताया जाता है कि गीता कपूर का बेटा राजा कोरियोग्राफर है। उनकी बेटी पूजा एयर होस्टेस है। राजा ही उन्हें वृद्धाश्रम में छोड़कर गया था और फिर कभी नहीं लौटा। अशोक पंडित और रमेश तौरानी ने अस्पताल के बिल भरे थे और उनकी देखभाल की थी।

एक अन्य ट्वीट के ज़रिए अशोक पंडित ने बताया कि गीता कपूर के पार्थव शरीर को दो दिन तक उनके बच्चों के इंतज़ार में कूपर अस्पताल में रखा जाएगा। कम से कम वो उनके अंतिम संस्कार के लिए तो आ जाएं। अगर वो नहीं आते, गीता कपूर को पूरे सम्मान के साथ विदाई देने की हम पूरी कोशिश करेंगे। पंडित ने एसआरवी हॉस्पिटल और मुंबई पुलिस का शुक्रिया भी अदा किया है।