बनारस हिन्दू यूनिवर्सिटी में छेड़छाड़ की शिकार हुई छात्रा ने तीन पन्नों दर्ज कराई गई एफआईआर में कई चौंकाने वाली बातें दर्ज हैं।
उसने बताया है कि, कॉलेज कैंपस में किस तरह से सिक्योरिटी गार्ड हर बात के लिए लड़कियों को ही दोषी ठहराते हैं।
पीड़िता ने आरोप लगाया है कि जब उसने छेड़छाड़ की घटना के बारे में सिक्योरिटी गार्ड को सूचित किया तो उसकी मदद करने की बजाय गार्ड ने उससे और उसके दोस्तों से यह पूछा कि शाम 6 बजे के बाद वह हॉस्टल के कमरों से बाहर क्या कर रही थी।
एफआईआर में पीड़िता ने बताया है कि घटना 21 सितंबर को शाम 6.20 बजे हुई, जब पीएम मोदी अपने संसदीय क्षेत्र पहुंचने वाले थे।
मैं 6.20 बजे भारत कला भवन के करीब थी और मैंने सलवार सूट पहन रखा था। अचानक दो मोटरसाइकिल सवार युवक आए और मेरे सूट में हाथ डाल दिया। फिर वे गाड़ी भगाकर फरार हो गए, अंधेरा होने की वजह से मैं रजिस्ट्रेशन नंबर नहीं देख सकी।”
मैं बेसुध होकर रो रही थी। मेरे दोस्तों ने गार्ड्स से संपर्क किया लेकिन उनका रिएक्शन अजीब था। उन्होंने इस बारे में तंज कसा कि हम शाम 6 बजे के बाद हॉस्टल से बाहर क्यों थे।” पीड़िता ने दोषियों के लिए कड़ी से कड़ी सजा की मांग की है कि ताकि ‘ऐसी घटना किसी और के साथ न हो।’
हैरानीजनक बात ये है कि घटना को पांच से ज्यादा दिन हो गए हैं और वाराणसी पुलिस ने अभी तक पीड़िता का बयान तक दर्ज नहीं किया है।
लेकिन पुलिस थाना प्रभारी संजीव मिश्रा का दावा है कि 21 सितंबर को घटना हुई और अगले दिन एफआईआर दर्ज हो गई।
उन्होंने कहा, ‘जब तक हम शिकायतकर्ता तक पहुंच पाते, वह 23 सितंबर को अपने घर, दिल्ली चली गई।’