देश में मौजूदा सांप्रदायिक माहौल के विरोध में जमीयत उलेमा-ए-हिंद ने रद्द किया ईद मिलन का आयोजन

आज ईद के मौके पर देश के मौजूदा हालात के चलते मुसलमानों के सामाजिक-धार्मिक संगठन जमीयत उलेमा-ए-हिन्द ने इस ईद पर आयोजित “ईद मिलन” कार्यक्रम को रद्द कर दिया है।

संस्था के जनरल सेक्रेटरी महमूद मदनी ने कहा है कि ये कार्यक्रम 30 जून को होने वाला था लेकिन इसे रद्द करना पड़ा।

मुसलमानों के साथ गलत बर्ताव हो रहा है। इससे ज्यादा मुझे इस बात की चिंता है कि नौजवानों को कट्टरपंथ से दूर रखने की हमारी कोशिशों को इससे बड़ा झटका लगा है।

आज देश में अल्पसंख्यकों के लिए ऐसे हालात हो गए हैं कि हमें अपने बच्चों को समझाना पड़ रहा है। अगर पब्लिक ट्रांसपोर्ट में आप पर कोई कुछ कमेंट करे तो उसका जवाब न दो, बस उसे चुपचाप सह लो।

देश में मोब लिंचिंग के नाम पर मुसलमानों के खिलाफ हो रही हिंसा की घटनाओं से समुदाय के लोग डरे, सहमे और दुखी हैं। पूरे देश में कथित तौर पर बीफ खाने और गाय की तस्करी के आरोप में कई लोगों को भीड़ ने पीट-पीट कर मार डाला।

ईद पर आयोजित कार्यक्रम रद्द करने पर मदनी ने कहा,“ हमें देश के इंसापसंद और अमनपसंद लोगों की मर्जी का सम्मान करते हुए बड़ी तकलीफ के साथ ये फैसला लेना पड़ा।

हम जताने चाहते हैं कि कानून-व्यवस्था और सरकार अल्पसंख्यकों और उत्पीड़ितों की सुरक्षा करने में विफल है।”
देश में सांप्रदायिक सौहार्द्र घट रहा है ऐसे में ऐसे आयोजनों का ज्यादा मतलब नहीं रह जाता।”