“GAY” का अड्डा बन रहा हैं मदरसा, इन्हें बैन कर देना चाहिए : प्रोफेसर वसीम राजा

नई दिल्ली: ‘हम मदरसों को हटाना चाहते हैं, जहां हमजिंसपरस्ती यानी Homosexuality का बोलबाला है और मौलाना इसमें शामिल हैं.’ यह कहना है अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी के प्रोफेसर वसीम राजा का.

प्रोफेसर वसीम रजा पर इल्ज़ाम है कि उन्होंने मदरसों को ‘गैर मज़हबी और Homosexuality का अड्डा’ कहा है. प्रोफेसर के खिलाफ यूनिवर्सिटी के स्टूडेंट में नाराजगी दिख रही है.

दरअसल प्रोफसर वसीम रजा पर इल्ज़ाम है कि उन्होंने वॉट्सऐप पर एक टीवी चैनल को मेसेज भेजा और इस मैसेज़ में लिखा था कि, ‘’मौलाना इस तरह की सरगर्मियों में लगे हुए हैं और मुस्लिम नौजवानों का मुस्तकबिल तभी बदलेगा, जब मुल्क के सभी मदरसे बैन कर दिए जाएं.’’

इसके साथ ही प्रोफेसर कहते हैं कि, ‘हम मदरसों को हटाना चाहते हैं, जहां Homosexuality का बोलबाला है और मौलाना इसमें शामिल हैं.’ वसीम रजा तीस सालों से यूनिवर्सिटी के हिस्ट्री डिपार्टमेंट में पढ़ा रहे हैं.

मामला सामने आने के बाद प्रोफेसर ने अपने ऊपर लगे इन इल्ज़ामात से इनकार किया है. वसीम रजा ने बताया, ‘मैंने ऐसा कुछ नहीं कहा है. मैं कई सार्क कॉन्फ्रेंसेस में हिस्सा ले चुका हूं और हमेशा कम्यूनिटी की तश्कील (Reorganization) की बात की है.

क्या मदरसे हमारी कम्यूनिटी में नहीं आते? इसका मतलब यह नहीं है मैंने ऐसा कुछ कहा है. मेरा फोन हैक कर लिया गया था. अब मैंने ग्रुप को बैन कर दिया है.’

यूनिवर्सिटी में प्रोफेसर को इस बयान को लेकर काफी गुस्सा है. स्टूडेंट्स का कहना है कि, ‘आप जैसे लोग यूनिवर्सिटी को बदनाम कर रहे हैं. आप इस जगह पहुंचे हैं, तो बोलने से पहले सोचिए.’

एएमयू स्टूडेंट यूनियन के साबिक सदर शहजाद आलम बरनी ने इसकी शिकायत चांसलर से कर कार्रवाई की मांग की है. बरनी ने यह भी शिकायत की है कि प्रो. वसीम रजा ने ग्रुप के व्हाट्सएप पर सजदा करते मुस्लिम लड़के की तस्वीर पर काबिल ऐतराज़ तब्सिरे किये है. शहजाद आलम बरनी ने चांसलर से प्रो. वसीम के खिलाफ फौरन कार्रवाई की मांग करते हुए कहा है कि इससे मज़हबी जज़्बात मजरूह हुई है और पूरे फिर्के की शबिया खराब हुई है