इस्तांबुल: इस्तांबुल में चलती हुई बस में एक युवक ने एक कॉलेज छात्रा को रमजान के महीने में छोटे कपड़े पहनने पर अत्याचार का निशाना बनाया। इस वाक़िये की महिलाओं के अधिकारों के लिए सक्रिय संगठनों ने तीव्र आलोचना की है।
बताया जाता है कि युनिवर्सिटी की छात्रा असीना मेलिसा सगलाम इस्तांबुल की एक बस पर सवार थीं, उनके पीछे वाली सीट पर बैठे एक व्यक्ति ने उनके चेहरे पर वार किया।
डी डब्ल्यू डॉट कॉम के अनुसार छात्रा असीना ने संबंधित व्यक्ति का सामना करना चाहा और उसे पकड़ना चाहा, तो वह आसीना को बस के पिछले हिस्से की ओर धकेल कर फरार हो गया।
21 वर्षीय युनिवर्सिटी छात्रा असीना ने बताया कि अत्याचार करने से पहले भी उक्त व्यक्ति पूरे रास्ते उन पर ताने कसता रहा था। पवित्र महीने में असीना के शॉर्ट्स पहनने पर उस व्यक्ति को आपत्ति थी।
घटना के बाद संबंधित व्यक्ति को हिरासत में ले लिया गया था लेकिन बाद में उसे रिहा कर दिया गया। पूछताछ के दौरान उसने यह रुख अपनाया कि उसे ऐसा करने पर ‘उकसाया’ गया था। महिलाओं के अधिकारों के लिए सक्रिय एक संस्था ने अपने ट्विटर अकाउंट से जारी संदेश में लिखा, कि ” संबंधित व्यक्ति की रिहाई सभी महिलाओं के लिए खतरा है।
हम जो चाहें कपड़े पहनेंगे और अपनी आज़ादी को नहीं छोड़ेंगे। बाद में ऐसी सूचना भी प्राप्त हो रही हैं कि विरोध के बाद संबंधित व्यक्ति को फिर से हिरासत में लिए जाने के आदेश जारी कर दिए गए हैं, लेकिन अभी यह स्पष्ट नहीं है कि ऐसा हुआ है या नहीं।
असीना ने एक स्थानीय अखबार से बातचीत करते हुए कहा कि मैं जिस पल बस में बैठी उसी समय से वह मुझे बातें सुनाता रहा। उसने मुझसे कहा कि क्या मुझे शर्म नहीं आती रमज़ान में ऐसे कपड़े पहनते हुए। असीना के अनुसार उसने गाने सुनकर उसकी बात को नजरअंदाज करने की कोशिश की और फिर उस व्यक्ति ने उसके चेहरे पर चांटा मार दिया।