एक बार में तीन तलाक़ पर सज़ा देने वाला सुप्रीम कोर्ट का फैसला सही: मौलाना तौकीर रज़ा खान

एक बैठक में तीन तलाक दिए जाने के जुर्म में तीन साल की सजा वाले मोदी सरकार के फैसला का आल इंडिया इत्तेहाद व मिल्लत काउंसिल के अध्यक्ष मौलाना तौकीर रज़ा खान ने स्वागत किया है, और कहा है कि अल्लाह ताला इस्लाम के दुश्मन ताकतों से भी जब चाहता है काम ले लेता है।

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इंकलाब ब्यूरो से खास बातचीत में मौलाना तौकीर रज़ा खान ने कहा कि तीन तलाक पर आज की मौजूदा सरकार यह चाहती है कि उसको जुर्म क़रार दिया जाए। लेकिन शरीअत में पिछले 14 सौ सालों से एक बैठक में तीन तलाक दिया जाना जुर्म ही माना जाता रहा है।

उन्होंने कहा कि एक बैटक में तीन तलाक देना बहुत बड़ा गुनाह भी है। उन्होंने कहा कि इसका सबसे बड़ा सबूत और उसकी सबसे बड़ा उदाहरन यह है कि मोहम्मद ‘सअ’ ने एक बैठक में तीन तलाक दिए जाने के खिलाफ सख्त नाराज़गी का इज़हार किया है। उन्होंने कहा है कि जिन पर हमारा ईमान है अगर वह एक बैठक में तीन तलाक देने से नाराज़ हैं तो ईमान वालों के लिए सबसे बड़ी सज़ा यही है और मेरा ख्याल है कि इससे बड़ी सज़ा सरकार नहीं दे सकती।