केंद्र ने हाईकोर्ट से कहा- मुस्लिम छात्राएं एम्स के एंट्रेस एग्ज़ाम में हिजाब पहन कर बैठ सकती हैं

कोच्चि: केंद्र ने आज केरल हाईकोर्ट से कहा कि मुस्लिम लड़कियों को ‘हिजाब’ पहन कर एमबीबीएस के लिए एम्स की प्रवेश परीक्षा लिखने की अनुमति दी जाएगी, जो 28 मई को होने वाला है, लेकिन शर्त है कि उन्हें अनिवार्य चेकिंग से गुज़रना होगा।

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केंद्र सरकार और एम्स के वकील ने पीठ से कहा कि जो छात्राएं ‘हिजाब’ पहन कर परीक्षा देंगी उन्हें परीक्षा के शुरु होने से एक घंटे पहले रिपोर्ट करना होगा।

गौरतलब है कि कोर्ट में मुस्लिम छात्रों और विभिन्न इस्लामी संगठनों द्वारा एम्स के नियम को चुनौती दी गई थी, जिसके तहत मुस्लिम छात्राओं को स्कार्फ व हिजाब पहनने की अनुमति नहीं थी, इस याचिका की सुनवाई जस्टिस पी बी सुरेश कुमार की पीठ कर रही थी।

याचिकाकर्ताओं ने उस अनुदेश पर आरोप लगाया, जिसमें एम्स के एमबीबीएस टेस्ट के लिए एडमिट कार्ड पर लिखा गया था ‘छात्रों को हिजाब और स्कार्फ पहनना मना है’।

उन्होंने कहा कि प्रवेश के लिए आने वाले उम्मीदवारों के लिए हिजाब और स्कार्फ को प्रतिबंधित करना अनुच्छेद 25 के तहत धार्मिक स्वतंत्रता के अधिकार का उल्लंघन करना है।
गौरतलब है कि अदालत ने पहले मुस्लिम छात्राओं और संगठनों की याचिका पर केंद्र सरकार का रुख मांगा था। लेकिन केंद्र और एम्स के वकील ने अपने स्टैंड को स्पष्ट किया, जस्टिस ने बयान दर्ज किया और याचिका का निपटारा कर दिया। ।