नई दिल्ली: डॉक्टर इला मिश्रा ने ट्वीट करते हुए लिखा कि मुस्लिम की शिकायत है पार्लियामेंट में हमारी सीट्स बहुत कम है इसलिए हमारी सुनवाई नही होती। इस पर उनहोंने लिखा कि मुस्लिम को इस बात का अफसोस क्यों नही कि मुहल्ले की मस्जिद जो असल पार्लियामेंट है वहाँ खुद की सीट हमेशा खाली रहती है। उनहोंने कहा कि मुसलमानों को मुसीबत मुस्लिम होने की वजह से नही बल्कि बेदीन होने की वजह से है।
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डॉक्टर इला मिश्रा के इस ट्वीट पर कई मुस्लिम यूजर्स ने अपनी प्रतिक्रियाएं दीं हैं, और डॉक्टर इला मिश्रा की बात से सहमती जाहिर की है। आरिफ ग़नी नामक एक यूजर ने लिखा कि आपके इस पोस्ट से मेरे कलेजे को ठंडक मिला। उनहोंने लिखा कि जो कौम अपना दीन भूला दे, ओढ़ना बिछौना मग़रिब को बना ले, ड्रामा में अपना भविष्य देखे, तो फिर उस कौम का यही हाल होगा जो हो रहा है और कोई उफ तक नहीं कर सकता, यहाँ हम अपने हुक्मरान की गलती निकालते हैं लेकिन जहाँ मुसलिम हुक्मरान है?
मुस्लिम की शिकायत है पार्लियामेंट में हमारी सीट्स बहुत कम है इसलिय हमारी सुनवाई नही होती
मुस्लिम को इस बात का अफसोस क्यों नही है कि मुहल्ले की मस्जिद जो असल पार्लियामेंट है वहाँ खुद की सीट हमेशा खाली रहती है मुसीबत मुस्लिम होने की वजह से नही बेदीन होने की वजह से हैसुप्रभात
आदाब— Dr Ela Mishra (@ela_mishra) July 3, 2018
मेरे कलेजा को ठंडक मिला आपके इस पोस्ट से बहना, जो कौम अपना दीन भूला दे, ओढ़ना बिछौना मग़रिब को बना ले, ड्रामा में अपना भविष्य देखे, तो फिर उस कौम का यही हाल होगा जो हो रहा है और कोई उफ तक नहीं कर सकता, यहाँ हम अपने हुक्मरान की गलती निकालते हैं लेकिन जहाँ मुसलिम हुक्मरान है ?
— Aarif Ghani (@imghaniaarif) July 4, 2018
वहीं फरहाना शेख नाम की यूजर ने लिखा कि वाह क्या ही उमदह बीत कही, परेशानीयाँ मुसी बतें बेदीनी की असल वजह हैं। अगर मुसलमान पक्का मुसलमान बन जाएे तो ईनशा अल्लाह कामयाबी पक्की है.पर दीन और शरीअत को पसे पुशत डाल दिया सुन्नत को छोड़ कर गैरों के तरीके़ अपना लिये फिर कहते हैं कि हम पर मुसीबतें क्यों आरही हैं अल्लाह हिदायत दे।
वाह क्या ही उमदह बीत कही
परेशानीयाँ मुसी बतें बेदीनी की असल वजह हैं
अगर मुसलमान पक्का मुसलमान बन जाएे तो ईनशा अल्लाह कामयाबी पक्की है.पर दीन और शरीअत को
पसे पुशत डाल दिया सुन्नत को छोड़ कर गैरों के तरीके़ अपना लिये फिर कहते हैं कि हम पर मुसीबतें क्यों आरही हैं अल्लाह हिदायत दे— Farhana siddiqi (@FarhanaShekh) July 4, 2018
बता दें कि डॉक्टर इला मिश्रा मशहूर लेखिका और आजादी के आंदोलन में जमीयत उलमा ए हिन्द और उलमाओं की भूमिका पर ‘रेश्मी रूमाल षड़यंत्र’ किताब लिख चुकीं हैं। डॉक्टर इला मिश्रा ने इस्लाम का काफी अध्ययन किया है, यही कारण है कि वे अक्सर इस्लामिक शिक्षाओं का जिक्र अपनी बातों मे करती रहती हैं।