नई दिल्ली: अगर आप वॉट्सएप चलाते हैं तो आपके पास रोजाना अपने दोस्तों, रिश्तेदारों के साथ-साथ करीबियों के मैसेज जरूर आते होंगे। इनमें कई लोग ऐसे भी होंगे जिनसे आप कई दशकों से नहीं मिले होंगे, बावजूद इसके वॉट्सएप के जरिए आप उनसे कॉन्टैक्ट में हैं। अब इस फेहरिस्त में आपके बैंक भी जुड़ने जा रहे हैं।
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दरअसल कई बड़े बैंकों की कोशिश यही है कि वो अपने ग्राहकों से वॉट्सएप चैट के जरिए बात करें। अगर इन बैंकों की योजना सही रही तो आने वाले दिनों में आप अपने बैंक से जुड़ी बातचीत वॉट्सएप पर कर सकेंगे।
अगर बड़े बैंकों का प्लान सफल रहा तो आने वाले दिनों में आपके बैंक से जुड़े मैसेज चाहे ट्रांजेक्शन का हो या फिर कैश निकालने के या फिर पीओएस ट्रांजेक्शन से जुड़ा, सभी की जानकारी इस पॉपुलर मैसेजिंग ऐप वॉट्सएप पर ही मिल जाएगी।
देश के पांच सबसे बड़े बैंक इस योजना की या तो टेस्टिंग कर रहे हैं या फिर वॉट्सएप पर कम्यूनिकेशन शुरू करने की फाइनल स्थिति में हैं। बैंकों की कोशिश यही है कि वॉट्सएप के जरिए वो केवल ट्रांजेक्शन्स से जुड़ी जानकारी ही ग्राहकों नहीं देंगे, बल्कि कस्टमर्स से सीधे संवाद करेंगे और उनकी राय भी लेंगे।
इस योजना के लिए बैंकों को वॉट्सएप के साथ एकीकृत करना होगा और एक वेरीफाइड एकाउंट के रूप में दिखाई देना होगा। ब्लूमबर्ग के अनुसार आज भारत में वॉट्सऐप के 200 मिलियन से अधिक मंथली एक्टिव यूजर्स हैं। स्टेट बैंक ऑफ इंडिया (एसबीआई) के प्रवक्ता ने एक ईमेल में कहा कि हम वॉट्सएप पर बातचीत से जुड़े सभी पहलुओं की जांच कर रहे हैं, और इसी के आधार पर फैसला लेंगे।
एसबीआई के अलावा प्राइवेट सेक्टर के बैंक आईसीआईसीआई बैंक लिमिटेड और एक्सिस बैंक लिमिटेड भी वॉट्सएप पर ग्राहकों से कम्यूनिकेशन का विकल्प तलाश रहे हैं। इसकी जानकारी दोनों बैंकों से जुड़े सूत्रों दी है।
कोटक महिंद्रा बैंक लिमिटेड ने भी इसी महीने ऐलान किया है कि वह वॉट्सएप पर अपनी बैंकिंग सर्विस को पायलट बेसिस पर लॉन्च कर रहा है। इसलिए, अगर आप कोटक बैंक के ग्राहक हैं, तो आप बैंक के साथ अपने सत्यापित वॉट्सएप नंबर पर सेवा अनुरोधों के बारे में बातचीत करने में सक्षम होंगे।
इस बातचीत में पैन, मोबाइल नंबर और ईमेल आईडी अपडेट करना और होम शाखा में बदलाव करना जैसे मामले शामिल हैं। इसी तरह का ऐलान अप्रैल में इंडसइंड बैंक लिमिटेड ने भी किया।
हालांकि बैंकों के लिए, वॉट्सएप का उपयोग कम्यूनिकेशन के तौर करना जितना आसान लग रहा है उतना आसान नहीं है। भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) के नियमों के मुताबिक, बैंक आपको एटीएम ट्रांजेक्शन, पीओएस ट्रांजेक्शन और फंड ट्रांसफर की जानकारी एसएमएस के जरिए आपके रजिस्टर्ड मोबाइल नंबर पर भेजता है।
रेगुलेशन के अनुसार, बैंक एसएमएस सेवा को बंद नहीं कर सकते हैं। लेकिन अगर ग्राहक वॉट्सएप अलर्ट को प्राप्त करने के लिए बैंक को सहमति देते हैं तो संभावना है कि आगे कम्यूनिकेशन का एकमात्र तरीका वॉट्सएप के जरिए होगा।
(साभार-वन इंडिया)