भारतीय मूल के छात्र ने अमेरिकी विवि कान्सास के गोपनीय लॉगिन हैक कर अपना असफल ग्रेड को “ए” में बदला

कन्सास, अमेरिका :  एक भारतीय-अमेरिकी छात्र जो पिछले साल अपने असफल ग्रेड को “ए” में बदलने के लिए अपने स्कूल के कंप्यूटर सिस्टम में हैक कर चुका था, उसने इस व्यवहार के लिए उसने अपने प्रोफेसरों से माफ़ी भी मांग ली है।

न्यायाधीश द्वारा 20 साल के वरुण एच सरजा को “18 महीने की जेल की सजा का आदेश दिया जा सकता है।” सरजा, जिसे 18 फरवरी के इस घोर अपराध के लिए मई में दोषी पाया गया था, उसे कंप्यूटर से हैक और गैरकानूनी तरीके से कृत्यों में दोषी ठहराया गया था।

नवंबर 2017 में सरजा के खिलाफ आपराधिक आरोप दायर किए गए थे। वर्ष 2016-17 में स्कूल के दौरान कान्सास विश्वविद्यालय (केयू) में इंजीनियरिंग का अध्ययन करते समय सरजा ने गोपनीय लॉगिन जानकारी हैक करने के लिए एक कीस्ट्रोक लॉगर का उपयोग किया और अपने असफल ग्रेड बदलने के लिए कैंपस के कंप्यूटरों में हैक किया।

एक की लॉगर एक कंप्यूटर में प्लग किया गया डिवाइस है जो कुंजीपटल पर एक कुंजली तरीके से दबाए गए चाबियों को ट्रैक या लॉग करता है, जिससे हैकर को उपयोगकर्ता नाम और पासवर्ड तक पहुंच मिलती है। एक जांच से पता चला कि सरजा ने उस वर्ष अपने लगभग 10 ग्रेड बदल दिए थे और शिक्षकों के लॉगिन प्रमाण-पत्रों को करने के लिए चुरा लिया था।

रिपोर्ट में कहा गया है, “सरजा ने जासूसों से कहा कि वह इंजीनियरिंग पसंद करते हैं, और इसमें सफल होना चाहते थे और हम अपने माता-पिता को इस बारे में बताने के लिए डर गए थे कि वह वर्गों में विफल रहा है।”

सरजा अपनी परिवीक्षा की शर्तों पर सहमत हो गई है और कह रही है कि वह सीधे उन प्रोफेसरों से माफ़ी मांगेगा जो इससे प्रभावित थे। ओलाथ शहर से रहने वाले सरजा ने न्यायाधीश से कहा कि वह फिर से की लॉगर्स तक नहीं पहुंचेगा।