मध्यप्रदेश के मंदसौर में प्रोफेसर द्वारा अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद के कार्यकर्ताओं के पैर पकड़ने का मामला सामने आया है.
जानकारी के अनुसार डिग्री कॉलेज के प्रोफेसर डीसी गुप्ता ने एबीवीपी कार्यकर्ताओं को कॉलेज परिसर में नारेबाजी करने से मना कर दिया था, जिसके बाद एबीवीपी के कार्यकर्ता आक्रोशित हो गए. छात्रों के गुस्सा होने के बाद प्रोफेसर गुप्ता ने अपनी गलती मानते हुए उनके पैर छूकर माफी मांगी, मामले में कांग्रेस नेता मानक अग्रवाल ने कहा कि यह घटना शर्मनाक है.
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— Anurag Dwary (@Anurag_Dwary) September 27, 2018
इस मामले में मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान और भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह को प्रोफेसर से माफी मांगनी चाहिए. इसके साथ ही उन कार्यकर्ताओं को पार्टी से निकालकर 307 के तहत मुकदमा दर्ज करना चाहिए, जिससे भविष्य में इस प्रकार की घटना ना है. वही प्रदेश भाजपा मामले में बेकफुट पर नजर आ रही है औऱ मामले में पड़ताल करवाने की बात कह रही है.
बताया जा रहा है कि जब एबीवीपी के कार्यकर्ता बुधवार को मंदसौर के पीजी कॉलेज में जब क्लास रूम के सामने नारे लगाने लगे तो प्रोफेसर दिनेश गुप्ता अपने रूम से बाहर निकले और एबीवीपी के कार्यकर्ताओं को ऐसा करने से रोकने लगे लेकिन वह नहीं माने. इतना ही नहीं एबीवीपी के कार्यकर्ताओं ने उन्हें राष्ट्रद्रोही करार देते हुए उनके खिलाफ केस दर्ज कराने की धमकी तक दे डाली.
इसके बाद प्रोफेसर ने गांधीगिरी का रास्ता चुना और वहां मौजूद एबीवीपी कार्यकर्ताओं के पैर पकड़कर माफी मांगने लगे. ऐसा होता देख वहां मौजूद छात्र वहां से भागने लगे. प्रोफेसर रूके नहीं और उन्होंने कॉलेज के गेट तक जाकर छात्रों के पकड़कर उनसे माफी मांगी.