लौट आएं रोहिंग्या मुसलमान, हिफाज़त की ज़िम्मेदारी सरकार की होगी: म्यांमार के केंद्रीय मंत्री

जिनेवा। म्यांमार के एक केंद्रीय मंत्री ने संयुक्त राष्ट्र उच्च आयोग शरणार्थी की कार्यकारी समिति को बताया है कि बांग्लादेश से जो रोहिंग्या शरणार्थी म्यांमार आना चाहते हैं, उनकी सुरक्षा और पुनर्वास की जिम्मेदारी सरकार की होगी।

म्यांमार के सामाजिक कल्याण राहत और पुनर्वास मंत्री श्री वेन मयाट ओया ने शरणार्थी आयोग की कार्यकारी समिति को बताया कि उनकी सरकार की सर्वोच्च प्राथमिकता म्यांमार से दर-बदर होकर बांग्लादेश जाने वाले रोहिंग्या शरणार्थियों को स्वदेश वापस लाना है।

Facebook पे हमारे पेज को लाइक करने के लिए क्लिक करिये

उन्होंने कहा कि जो लोग वापस आना चाहते हैं उनकी स्वदेश वापसी की कार्रवाई जल्द ही शुरू कर दी जाएगी और उनकी नागरिकता की वेरिफिकेशन जांच का काम म्यांमार और बांग्लादेश के बीच 1993 में होने वाले समझौते के आधार पर किया जाएगा। जो लोग म्यांमार के शरणार्थियों के रूप में सत्यापित हैं उन्हें किसी रुकावट के बिना स्वीकार किया जाएगा और उनकी सुरक्षा और पुनर्वास की पूरी जिम्मेदारी म्यांमार सरकार की होगी।

इससे पहले बांग्लादेश के विदेश मंत्री ने बताया कि बांग्लादेश और म्यांमार ने पांच लाख से अधिक रोहिंग्या शरणार्थियों की स्वदेश वापसी की योजना तैयार करने के लिए एक वर्किंग समूह बनाने पर सहमत हुए हैं।