नई दिल्ली: मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल की जिंदगी पर बनी डॉक्यूमेंट्री-ड्रामा फिल्म ‘एन इन्सिगनिफिकेंट मैन’ को लेकर दाखिल याचिका सुप्रीम कोर्ट ने खारिज कर दी है. फिल्म अब शुक्रवार को ही रिलीज होगी.
सुप्रीम कोर्ट ने कहा ‘कोर्ट बोलने और अभिव्यक्ति की आजादी में दखल नहीं दे सकता है. कोर्ट को ऐसे मामलों में कोई भी रोक के आदेश जारी करने से पहले काफी धीमा होना चाहिए. फिल्म निर्माता के अधिकारों को कम नहीं किया जा सकता. कोर्ट ने कहा कि फिल्म या डाक्यूमेंट्री कभी भी किसी आपराधिक मामले के ट्रायल में सबूत के तौर पर इस्तेमाल नहीं हो सकती है. उम्मीद है कि ट्रायल जज इस मामले में एविडेंस एक्ट के तहत ही सबूतों पर गौर करेंगे’.
मुख्य न्यायाधीश दीपक मिश्रा ने यह भी कहा कि बहुत सारे लोग ऐसे मुद्दों को कोर्ट लेकर नहीं आते हैं. याचिकाकर्ता नचिकेता वाघरेकर ने मांग की थी कि जब तक फिल्म से उनके वीडियो क्लिप को नहीं हटाया जाता तब तक फ़िल्म को रिलीज न किया जाए.
दरअसल नचिकेता वाघरेकर ने नवंबर 2013 में, कॉन्सटीयूशन क्लब में अरविंद केजरीवाल पर स्याही फेंका था और उसी क्लिप को फिल्म में इस्तेमाल किया गया है. याचिकाकर्ता नचिकेता वाघरेकर का कहना है कि उनके वीडियो क्लिप को हटा कर फिल्म रिलीज किया जा सकता है. सामाजिक कार्यकर्ता से लेकर राजनेता बने अरविंद की कहानी को दिखाने वाली ये फ़िल्म अमेरिकी कंपनी वाइस ने बनाई है. फ़िल्म भारत में 17 नवंबर को रिलीज होगी.
