Stem Cell शोबा का 2015 तक 8 बिलियन डालर का निशाना

हिंदूस्तान में इस्टीम सेल थरापी शोबा में साल 2015 तक 8 बिलियन अमरीकी डालर मालियत पैदावार का निशाना मुक़र्रर किया गया है । इस बैंक की एक रिपोर्ट के मुताबिक़ ये बात बताई गई ।

नाकाफ़ी क़ानून साज़ी और अदम वक़फ़ेत की बिना इस सेक्टर में ख़ातिर ख़वाह तरक़्क़ी नहीं होसकी । रिपोर्ट में मज़ीद बताया गया कि इस ज़िमन में ख़ुसूसी मराआत जैसे दस साल के लिए टैक्स फ़वाइद , ड्यूटी से इस्तिस्ना इस शोबा में पैदावार के लिए मददगार साबित होंगे ।

इस शोबा में क़ानून साज़ी को अभी क़ानूनी शक्ल नहीं दी गई है जब कि रहनुमयाना ख़ुतूत मोनासिब पैदावार के लिए ज़रूरी है । रिपोर्ट में बताया गया कि कीमती इंजैक्शनस जो कि तक़रीबन 80 हज़ार रुपये के आस पास होते हैं की फ़रोख़त के लिए भी कोई रहनमएआना ख़ुतूत नहीं है

और ना ही उन की कीमत का तीन किया गया है । कई कंपनियां नाकाफ़ी क़ानून साज़ी का फ़ायदा उठा रही है और आई सी एम आर की मंज़ूरी के मुताबिक़ उन की थरापियों और क्लीनिक्स की तशहीर कर रहे हैं ।

रिपोर्ट में मज़ीद बताया गया कि एन कंपनियों के तरीका ईलाज से ज़ेली असरात का ख़तरा है ।

रिपोर्ट में बताया गया कि हिंदूस्तान में एस्टीम सेल शोबा में चंद ही कंपनियां हैं जो कि बेहतर तरीका से कारकर्दगी दिखा रहे हैं जब कि बहुत सारी कंपनियां नाकाफ़ी क़ानूनसाज़ी के सबब बेहतर कारकर्दगी से आरी हैं ।।