हसन रुहानी ने अमेरिकी प्रतिबंधों को आर्थिक आंतकवाद करार दिया

ईरान के राष्ट्रपति हसन रूहानीने शनिवार को चेतावनी दी कि यदि अमेरिकी प्रतिबंधों से वह कमजोर हो गया, तो पश्चिमी देशों को बड़े पैमाने पर मादक पदार्थों की तस्करी का सामना करना पड़ेगा।आतंकवाद का मुकाबला करने पर छह देशों के सम्मेलन में रूहानी ने तेहरान में यह कहा।

इसमें अफगानिस्तान, ईरान, पाकिस्तान, तुर्की, चीन और रूस की संसद के स्पीकर शामिल हुए। रूहानी ने सरकारी टीवी पर कहा कि कमजोर ईरान मादक पदार्थों की तस्करी का पूरी ताकत से मुकाबला नहीं कर पाएगा। उन्होंने कहा, ‘‘प्रतिबंधों से ईरान के कमजोर पड़ जाने से कई (देश) सुरक्षित नहीं होंगे।

ईरान के राष्ट्रपति हसन रूहानी ने अमेरिकी प्रतिबंधों को “आर्थिक आंतकवाद” बताते हुये शनिवार को विभिन्न देशों से यात्रा पर आये अधिकारियों से संयुक्त मोर्चे को बढ़ाना देने का आग्रह किया। अमेरिका ने ईरान के साथ 2015 में हुये परमाणु समझौते से खुद को अलग करते हुये उस पर एक बार फिर से कड़े प्रतिबंध लगा दिये।

रूहानी ने टेलीविजन पर प्रसारित भाषण में कहा, ईरान जैसे सम्माननीय देश के खिलाफ अमेरिका के अन्यायपूर्ण और गैर-कानूनी प्रतिबंध स्पष्ट रूप से आतंकवाद का उदाहरण है।

रूहानी ने आतंकवाद एवं क्षेत्रीय सहयोग पर आयोजित सम्मेलन में यह बात कही। सम्मेलन में अफगानिस्तान, चीन, पाकिस्तान, रूस और तुर्की के संसद अध्यक्षों ने शिरकत की।

उन्होंने कहा, हम हमले का सामना कर रहे हैं जो कि न सिर्फ हमारी आजादी और पहचान के लिए खतरा है बल्कि हमारे लंबे समय से चले आ रहे संबंधों को नुकसान पहुंचा रहा है।

साभार- ‘ज़ी न्यूज़’