मुख्यमंत्री ममता बनर्जी गुरुवार को उस समय अपना आपा खो बैठीं जब कुछ लोगों के एक समूह ने ‘जय श्रीराम’ के नारे लगाये। सुश्री बनर्जी का काफिला उत्तर 24 परगना जिले के भाटपाड़ा से गुजर रहा था, तभी कुछ लोगों ने ‘जय श्री राम’ के नारे लगाये, जिसके बाद वह एक बार फिर अपना आपा खो बैठीं।
तृणमूल कांग्रेस की प्रमुख लोकसभा चुनाव परिणामों के बाद अपने पार्टी कार्यकर्ताओं पर हुई ‘हिंसा’ के खिलाफ एक धरने में हिस्सा लेने के लिए नैहाटी जा रही थीं।
प्रभात खबर पर छपी खबर के अनुसार, सोशल मीडिया पर वायरल हुए एक वीडियो में कुछ लोग उस समय ‘जय श्री राम’ के नारे लगाते हुए नजर आ रहे हैं, जब सुश्री बनर्जी का काफिला भाटपाड़ा क्षेत्र से गुजर रहा था।
यह क्षेत्र भाजपा के नवनिर्वाचित सांसद अर्जुन सिंह का गढ़ माना जाता है। सिंह ने चुनाव में तृणमूल कांग्रेस के दिनेश त्रिवेदी को पराजित किया है। क्रोधित सीएम अपने कार से बाहर आयीं और उन्होंने अपने सुरक्षा अधिकारियों से इन पुरुषों के नाम लिखने को कहा।
उन्हें यह कहते हुए सुना गया, आप अपने बारे में क्या सोचते हैं? आप अन्य राज्यों से आयेंगे, यहां रहें और हमारे साथ दुर्व्यवहार करें। मैं इसे बर्दाश्त नहीं करूंगी।
तुम्हारी हिम्मत कैसे हुई मुझे अपमानित करने की? आप सभी के नामों और विवरणों को लिख लिया जायेगा। मुख्यमंत्री के अपनी कार में वापस जाने के बाद उन लोगों ने फिर से ‘जय श्री राम’ के नारे लगाये, जिस वजह से उन्हें फिर से एक बार अपने वाहन से उतरना पड़ा।
इसके बाद नैहाटी में धरने में बैठे लोगों को संबोधित करते हुए सीएम ने कहा कि भाजपा के कुछ कार्यकर्ता उनकी कार के सामने आये और उन्हें अपशब्द कहने लगे।
उन्होंने पूछा, क्या यही लोकतंत्र है? इस घटना ने इस महीने की शुरुआत में पश्चिमी मेदिनीपुर जिले के चन्द्रकोना के निकट हुई इसी तरह की एक घटना की याद दिला दी।