कोलकाता: पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के एक फैसले पर विवाद खड़ा हो गया है। मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने हुगली जिले में बने प्रसिद्ध तारकेश्वर मंदिर विकास बोर्ड का अध्यक्ष अपने मंत्री फरहाद हकीम को बनाया है।
खबर के मुताबिक भाजपा ने ममता बनर्जी के इस फैसले पर सवाल खड़ा किया है। भाजपा का कहना है कि हिन्दुओं की आस्था के प्रतीक मंदिर विकास बोर्ड का अध्यक्ष एक मुस्लिम को बनाया जाना गलत है।
उधर भाजपा नेता सुब्रमण्यम स्वामी ने कहा कि तारकेश्वर मंदिर को लेकर सरकारी आदेश गैर क़ानूनी है। सरकार ने मंदिर के आसपास के विकास के लिए एक बोर्ड बनाया और उस पर एक मुस्लिम मंत्री को बैठा दिया है।
साथ ही अब सरकार कह रही है कि यह बोर्ड मंदिर के विकास को लेकर भी है, जो कि गैर कानूनी है। स्वामी ने ममता सरकार पर आरोप लगाते हुए कहा कि मंदिर के आसपास के विकास के बहाने मंदिर पर कब्जा करने की कोशिश हो रही है।
स्वामी ने संविधान के अनुच्छेद 26 का हवाला देते हुए कहा कि यह सरकारी आदेश गैर कानुनी है। मैंने सरकार को 48 घंटे में आदेश वापस लेने का अल्टीमेटम दिया था। 48 घंटे समाप्ति के बाद कोलकाता हाई कोर्ट में इसके खिलाफ केस दायर करेंगे, हम मंदिर को बचाने के लिए कुछ भी करेंगे।